ॐ सांई राम
संसार के संतों से
मेरा साईं निराला है
मेरे साईं के कारण ही
इस जग में उजाला है
जब जीव कोई राये
मेरा साईं रोता है
जब भक्त हो कष्टों में
दर्द साईं को होता है
कोई समझ नहीं पाया
ये खेल निराला है
मेरे साईं के कारण ही
इस जग में उजाला है
कहने को सभी कहते
हर जीव में भगवन है
पर साईं का जीवन तो
सबके लिए अर्पण है
जिस थाल में वो खाते
वहीँ सबका निवाला है
मेरे साईं के कारण ही
इस जग में उजाला है
चाहे संत हो या मौला
सब संग्रह करते हैं
सब कल की चिंता में
धन दौलत भरते हैं
मेरे साईं ने फकीरी में
सारा जीवन निकाला है
मेरे साईं के कारण ही
इस जग में उजाला है
भजन की प्रस्तुति बहन रविन्दर जी के सौजन्य से
एवम
रूप कि पेश्कश हन्नी भैया जी की और से
आप सभी से अनुरोध है कि क्रिपा करके परिन्दो-चरिन्दो को भी उत्तम भोजन एवम पेय जल प्रदान करे, आखिर उनमे भी तो साई जी ही समाये है। बाबा जी ने स्वयम इस बात की पुष्टि की है कि मुझे सभी जीवो में देखो।
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